देहरादून। देहरादून-दिल्ली छह लेन एक्सप्रेस-वे पर एलिवेटेड रोड पर लगने वाली लाइटों से वन्यजीवों को होने वाली परेशानी से बचाने की तैयारी की गई है। इस एलिवेटेड रोड पर खास तरह की लाइटों को लगाया जाएगा, जिसकी रोशनी जंगल के अंदर नहीं जाएगी, जिससे रात्रिचर समेत अन्य वन्यजीवों पर कोई प्रभाव पड़े।
इन लाइटों को भारतीय वन्यजीव संस्थान, देहरादून के वैज्ञानिक ने स्टडी के बाद तय किया है। देहरादून-दिल्ली एक्सप्रेस-वे राजाजी और शिवालिक वन प्रभाग के बीच से होकर गुजरता है। इसके बनने से वन्यजीवों के विचरण पर प्रभाव पड़ सकता था, ऐसे में यहां पर 12 किमी लंबाई का एलिवेटेड रोड को तैयार किया गया है।
इसमें ऊपर से वाहनों का आवागमन होगा और नीचे व वन्यजीव विचरण कर सकेंगे। इसको तैयार करने के साथ वन्यजीवों को लेकर अन्य बातों का भी ध्यान रखा जा रहा है। गुजरने वाले वाहनों का शोर वन्यजीवों को परेशान न करे, इसके लिए साउंड बैरियर की व्यवस्था को लेकर कदम उठाया गया है। अब एलिवेटेड रोड पर लगने वाली लाइट को लेकर भी कदम उठाया गया है।
800 नान स्कैटरिंग लाइटें लगेंगी
नेशनल हाइवे अथारिटी आफ इंडिया (एनएचएआई) ने वाहन स्वामियों की सुविधा के लिए एलिवेटेड रोड पर लाइट लगाने का फैसला किया। इन लाइटों को लगाने से पहले भारतीय वन्यजीव संस्थान से मदद मांगी गई। तीन महीने तक संस्थान के वैज्ञानिकों ने अलग-अलग लाइट लगाकर अध्ययन किया।
इसके लिए खासतौर पर लाइटों को तैयार किया गया। आखिरी में चार में से एक नान स्कैटरिंग लाइट के विकल्प को हरी झंडी दी। इन लाइटों की रोशनी केवल फ्लाईओवर पर रहेगी और उसका फैलाव अन्य जगहों पर नहीं होगा। एनएचएआई की आठ सौ लाइटों को लगाने की योजना है।
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