उत्तराखण्ड पुलिस के अत्याचार के विरुद्ध समाजसेवी भावना पांडे ने प्रकट किया रोष

देहरादून। उत्तराखण्ड की बेटी, राज्य आंदोलनकारी एवं प्रसिद्ध समाजसेवी भावना पांडे ने प्रदेश सरकार की तानाशाही और उत्तराखण्ड पुलिस के अत्याचार के विरुद्ध रोष प्रकट किया है। उन्होंने कहा, भाजपा सरकार के राज में प्रदेश की आम जनता पर अत्याचार किया जा रहा है। जनता तकलीफ में है और अपने अधिकारों के लिए आवाज उठाने वालों की आवाज़ को बलपूर्वक दबाया जा रहा है। ये सरकार के अत्याचार की हद है।

भावना पांडे ने कहा, देहरादून में प्रदेश के युवा नर्सिंग अभ्यर्थियों के शांतिपूर्ण प्रदर्शन पर इस प्रकार का पुलिस का आक्रामक रवैया प्रदेश के लिए शुभ संकेत नही है। मुख्यमंत्री धामी और उत्तराखंड सरकार को बेरोजगार युवाओं की जरा भी चिंता नहीं है। सरकार युवाओं की समस्याओं के समाधान के लिए बिल्कुल भी गंभीर नहीं है। वहीं सरकार के इशारे पर प्रदेश की पुलिस बलपूर्वक बेरोजगारों के आंदोलन को कुचलने का प्रयास कर रही है।

भावना पांडे ने कहा, नर्सिंग एकता मंच के नेतृत्व में सोमवार को सैकड़ों बेराजगारों ने मुख्यमंत्री आवास कूच किया। इस दौरान हाथीबड़कला में बेरोजगारों और पुलिस के बीच करीब दो घंटे तक झड़प हुई। इसी दौरान एक महिला पुलिसकर्मी ने कूच में शामिल एक महिला के साथ मारपीट की, जो पुलिस के अन्याय और अत्याचार को दर्शाता है। उन्होंने कहा, संगठन पिछले कई दिनों से वर्षवार भर्ती निकालने और आयु सीमा में छूट देने समेत कई मांगों को लेकर धरना दे रहा है किंतु सरकार के कानों पर जूं तक नहीं रेंगी।

भावना पांडे ने कहा, अपने अधिकारों के लिए संघर्षरत नर्सिंग एकता मंच के लोगों के साथ पुलिस प्रशासन द्वारा बल प्रयोग करने और थप्पड़ मारने की घटना की बेहद निंदनीय है। भाजपा की तानाशाह सरकार के अहंकार को अब और बर्दाश्त नहीं किया जा सकता। उन्होंने कहा कि इस घटना की जांच की जाए और दोषियों के विरुद्ध कार्रवाई की जाए।

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