देहरादून। भारी बारिश के कारण मसूरी से कैम्पटी जाने वाली सड़क का एक हिस्सा भूधंसाव से क्षतिग्रस्त हो गया है। भूधंसाव के कारण यह मार्ग यातायात के लिए पूर्ण रूप से बंद हो गया है। मंगलवार देर रात हुए भूधंसाव के चलते राजमार्ग की मरम्मत का कार्य संबंधित विभाग द्वारा किया जा रहा है।
पुलिस विभाग की ओर से इस मार्ग का उपयोग न करने और मसूरी से कैम्पटी व कैम्पटी से मसूरी जाने और वहां से आने के लिए वैकल्पिक मार्गों का उपयोग करने की अपील की है। राजमार्ग की पूर्ण मरम्मत होने पर यातायात की स्थिति सामान्य होने की दशा में तत्काल अवगत कराया जाएगा।
बंद मार्गों को खोलने में NHIDCL की लापरवाही पर सचिव नाराज
प्रदेश में भारी वर्षा के कारण चारधाम के मुख्य मार्ग बदरीनाथ मार्ग को खोलने में नेशनल हाइवे एंड इंफ्रास्ट्रक्चर डेवेलपमेंट कारपोरेशन (एनएचआइडीसीएल) की लापरवाही सामने आई है। इस पर लोक निर्माण विभाग सचिव डा पंकज कुमार पांडेय ने नाराजगी जताते हुए एनएचआइडीसीएल के अधिकारियों को नवंबर, 2023 से मई, 2024 तक किए गए कार्यों का विवरण उपलब्ध कराने को कहा है।
साथ ही उन्होंने चंपावत राष्ट्रीय राजमार्ग के बार-बार अवरुद्ध होने पर नाराजगी जताते हुए अधिशासी अभियंता को समस्या के मूल में जाकर इसे दुरुस्त करने के निर्देश दिए। मंगलवार को लोक निर्माण विभाग सचिव डा पंकज कुमार पांडेय ने राज्य में आपदा से प्रभावित पुल और सड़कों के संबंध में समीक्षा की।
बार-बार अवरुद्ध हो रहा मार्ग
बैठक में यह बात सामने आई कि चमोली में हेलंग से चमोली मार्ग और नंदप्रयाग में पागलनाले के पास मार्ग बार-बार अवरुद्ध हो रहा है। इससे यात्रियों को काफी परेशानी का सामना करना पड़ रहा है। अप्रैल में सचिव के क्षेत्र भ्रमण के दौरान एनएचआइडीसीएल का भाग ही सबसे अधिक क्षतिग्रस्त पाया गया था। इस भाग की मरम्मत के लिए उस समय भी कोई मशीन अथवा मजदूर मौजूद नहीं थे।
अभी भी एनएचआइडीसीएल द्वारा क्षतिग्रस्त भाग को दुरुस्त न करने पर सचिव लोक निर्माण विभाग ने नाराजगी जताई। साथ ही उन्होंने उत्तरकाशी में एनएचआइडीसीएल के सिलक्यारा टनल के पास फंसे ट्राले से मार्ग अवरुद्ध होने के प्रकरण का संज्ञान लिया।
उन्होंने दो दिन के भीतर फंसे ट्राले को हटाकर मार्ग सुचारू करने के निर्देश दिए। सचिव ने अधिकारियों को राज्य के अवरुद्ध हुए सभी राष्ट्रीय राजमार्ग, राज्य राजमार्ग और पुलों को शीघ्र खोलने के निर्देश दिए। उन्होंने कहा कि ऐसे स्थान जहां पुल टूट गए हों, वहां अत्यावश्यक होने पर अस्थायी रूप से ट्राली लगाई जाए, क्योंकि जहां भी ट्रालियां लगी हैं वहां विभाग को पुल का निर्माण करना है।
उन्होंने विभिन्न स्थानों पर ग्रामीणों द्वारा स्वयं अस्थायी पुल बनाने के प्रकरण संज्ञान लेते हुए उन्हें तकनीकी सहायता उपलब्ध कराने के भी निर्देश दिए। बैठक में बताया गया कि प्रदेश में कुल 134 मार्ग बंद हैं। जिन्हें खोलने का कार्य लगातार जारी है।
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